{This article is English version of previously published article titled – यहाँ कल्पना जैसा कुछ भी नहीं, सब सत्य है which was published on 21st January 2017 on “Svyam Bane Gopal” Group’s website} {The...
{This article is English version of previously published article titled – सावधान, पृथ्वी के खम्भों का कांपना बढ़ता जा रहा है which was published on 26th December 2015 on “Svyam Bane Gopal” Group’s website}...
आज हठयोग (अष्टांग योग) के कुछ अभ्यासों (जैसे- आसन, प्राणायाम, मुद्रा, ध्यान आदि) के बारे में थोड़ी बहुत जानकारी तो लगभग सभी को है लेकिन राजयोग की एक परम शक्तिशाली व अद्भुत असरदायक चिकित्सा...
{नोट- पहली कविता “स्वयं बनें गोपाल” समूह से जुड़े हुए एक आदरणीय स्वयं सेवक द्वारा रचित है पर उन्होंने हमसे अपने नाम को प्रकाशित ना करने का अनुरोध किया है इसलिए हम उनकी कविता...
(“स्वयं बनें गोपाल” समूह से जुड़े एक स्वयं सेवक की सत्य आत्मकथा)- आज से लगभग 8 – 9 वर्ष पूर्व, कंपनी के जर्मनी हेडक्वाटर के नित्य बदलते फैसले की वजह से अचानक कुछ महीने...
इस संसार के कई दुखद सत्यों में से एक सत्य यह भी है कि यहाँ कब, कहाँ, कौन व्यक्ति (चाहे वह ऊपर से दिखने में कितना भी धनी, स्वस्थ या सुखी क्यों ना हो)...
(विशेष अवसर पर गोलोक वासी ऋषि सत्ता की अत्यंत दयामयी कृपा से प्राप्त आपबीती दुर्लभ अनुभव का अंश विवरण)- मेरे अपने पार्थिव देह को छोड़ने अर्थात मृत्यु के बाद जब तक मैं अपनी गोलोक...
गोपाल अर्थात ईश्वर अनंत है इसलिए कोई भी जीवात्मा साकार रूप में, कभी भी पूरी तरह से परमात्मा का पूर्ण रूप प्राप्त कर ही नहीं सकती है ! यही वजह है कि आज भी...
वास्तव में लकवा प्रकृति के द्वारा बनाई गयी क्रूरतम बीमारियों में से एक है क्योंकि अगर लकवे का असर शरीर पर ज्यादा हो तो आदमी अपने निजी कार्य जैसे खाना, पीना, कपड़े पहनना, नहाना,...
आज के समय में अधिकाँश लोगों को ताड़ासन के बारे में सिर्फ यही पता होता है कि इसको करने से बच्चों के शरीर की हाइट (लम्बाई) बढ़ती है या ज्यादा से ज्यादा जॉइंट्स (जैसे...
{नीचे सर्वप्रथम श्री परमहंस योगानंद की विश्व प्रसिद्ध पुस्तक “एक योगी की आत्मकथा” (जो फिलोसौफिकल लायब्रेरी न्यूयार्क के 1946 मूल संस्करण का पुनर्मुद्रण है) के पेज नम्बर 431 और 513 का अंश उद्धृत है...
मुख्यतः भक्ति योग में शीघ्र सफलता प्राप्त करने की इच्छा रखने वाले आदरणीय जिज्ञासुओं के लिए यह लेख प्रस्तुत है ! इसमें सबसे पहली बात यह समझने की जरूरत है कि कोई भी व्यक्ति...
गर्दन में आया खिचाव, तनाव (जिसे साल पड़ना, नस चढ़ना या नस खीचना आदि भी कहतें हैं) या कमर पीठ घुटने पिंडली में आया खिचाव या शरीर के किसी भी अन्य अंग की मांसपेशी...
लम्बे समय से ब्रह्मांड से सम्बंधित सभी पहलुओं पर रिसर्च करने वाले, “स्वयं बनें गोपाल” समूह से जुड़े हुए विद्वान रिसर्चर श्री डॉक्टर सौरभ उपाध्याय (Doctor Saurabh Upadhyay) के निजी विचार ही निम्नलिखित आर्टिकल...
{This article is English version of previously published article titled – एच.आई.वी/एड्स व कैंसर जैसी घातक बीमारियों में अति लाभकारी हो सकती है ये प्राकृतिक चिकित्सा पद्धति ; which was published on 28th Oct...